शुक्रवार, 28 फ़रवरी 2014

यमन



राग यमन 

संक्षिप्त  परिचय 

थाट - कल्याण
जाति - सम्पूर्ण
वादी - गंधार
संवादी - निषाद
तीव्र स्वर - मध्यम बाक़ी सभी  स्वर शुद्ध
समय - रात्रि का प्रथम प्रहर
प्रकृति - गंभीर
कई लोग इसे कल्याण  व इमन  भी कहते हैं।


आरोह  -  .नि रे ग  प ध  नि सां
अवरोह - सां नि ध प  ग रे सा
पकड़  -   .नि रे ग रे सा, प  ग रे सा


सुनें विदुषी   प्रभा अत्रे जी  के अलौकिक   स्वर में विलम्बित ख्य़ाल मन तू गा रे हरि नाम , द्रुत में लागी लागी रे हरि  संग प्रीत ये जन्म -जन्म की और अंत में तराना .






चित्र-कैमरे से